पुलकित गर्ग की भावभीनी विदाई, नवागत उपाध्यक्ष पूर्ण बोरा का शानदार इस्तकबाल, काशी को मिला विकास का नया “लाल”
- नवाचार और नैतिकता का संगम पूर्ण बोरा ने संभाली वीडीए की कमान
- मंडलायुक्त एस. राजलिंगम की अध्यक्षता में हुआ पदभार ग्रहण समारोह
- 2018 बैच के युवा आईएएस अधिकारी, तकनीकी पृष्ठभूमि के साथ प्रशासनिक दक्षता का मेल
- कुशीनगर से बिजनौर तक विकास कार्यों में उत्कृष्ट प्रदर्शन
- वीडीए में पारदर्शिता, सुशासन और नवाचार की नई उम्मीदें
- जनसुनवाई, ई-गवर्नेंस और शहरी विकास पर विशेष फोकस की योजना
- कर्मचारियों के साथ संवाद और नागरिक केंद्रित दृष्टिकोण पर जोर
◆ पंचशील अमित मौर्य
वाराणसी। विकास की दिशा में पारदर्शिता, तकनीकी दक्षता और सुशासन की नई सोच के साथ वीडीए को नया नेतृत्व मिला है। बिजनौर के मुख्य विकास अधिकारी रहे 2018 बैच के आईएएस अधिकारी पूर्ण बोरा ने बुधवार को वीडीए के 51वें उपाध्यक्ष के रूप में कार्यभार ग्रहण किया। मंडलायुक्त एवं वीडीए अध्यक्ष एस.राजलिंगम की अध्यक्षता में संपन्न पदभार ग्रहण समारोह में पूर्ण बोरा ने अधिकारियों एवं कर्मचारियों से परिचय प्राप्त करते हुए टीम भावना के साथ काम करने का आह्वान किया।

मंडलायुक्त की मौजूदगी में हुआ औपचारिक पदभार ग्रहण समारोह
वीडीए के सभागार में हुए इस पदभार ग्रहण समारोह में मंडलायुक्त व वीडीए अध्यक्ष एस. राजलिंगम की मौजूदगी ने कार्यक्रम को औपचारिक गरिमा दी। उन्होंने कहा कि वाराणसी जैसे विश्वप्रसिद्ध और ऐतिहासिक शहर के विकास प्राधिकरण का नेतृत्व संभालना एक बड़ी जिम्मेदारी है। राजलिंगम ने नवागत उपाध्यक्ष पूर्ण बोरा को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि वीडीए के कामकाज में पारदर्शिता और त्वरित निर्णय महत्वपूर्ण हैं। जनता की अपेक्षाएं बड़ी हैं, और हमें मिलकर उसे पूरा करना है। समारोह के बाद पूर्ण बोरा ने वीडीए के सभी अधिकारियों और कर्मचारियों से मुलाकात कर कार्यप्रणाली की जानकारी प्राप्त की। उन्होंने कहा कि संस्था के प्रत्येक विभाग को जिम्मेदारी और जवाबदेही के साथ कार्य करना होगा।
असम से वाराणसी तक एक प्रेरणादायक यात्रा
1 मई 1989 को असम में जन्मे पूर्ण बोरा बचपन से ही मेधावी और अनुशासित रहे। उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक्स एवं कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग में बी.टेक की उपाधि प्राप्त की। विज्ञान और तकनीक की समझ ने प्रशासनिक जीवन में उन्हें एक व्यावहारिक और नवाचारी दृष्टिकोण दिया। यूपी कैडर के 2018 बैच के आईएएस अधिकारी के रूप में उन्होंने अपने कैरियर की शुरुआत जनपद कुशीनगर में संयुक्त मजिस्ट्रेट के रूप में 7 अगस्त 2020 को की। यहीं से उनकी पहचान एक कर्मठ, संवेदनशील और आधुनिक सोच वाले अधिकारी के रूप में बनी।
कुशीनगर में प्रशासनिक दक्षता का पहला परिचय
कुशीनगर में संयुक्त मजिस्ट्रेट रहते हुए पूर्ण बोरा ने कोविड-19 महामारी के कठिन समय में जिला प्रशासन की कमान का अहम हिस्सा बनकर जिम्मेदारी निभाई। स्वास्थ्य सेवाओं, राहत कार्यों और आपूर्ति श्रृंखला के प्रबंधन में उनकी भूमिका उल्लेखनीय रही। उन्होंने प्रशासन में डिजिटल मॉनिटरिंग सिस्टम लागू कर कई सरकारी योजनाओं की प्रगति को ट्रैक करने की व्यवस्था की, जिससे पारदर्शिता और दक्षता बढ़ी।
वाराणसी विकास प्राधिकरण में नई ऊर्जा का संचार
वाराणसी जैसे धार्मिक, सांस्कृतिक और पर्यटन केंद्र के लिए वीडीए का महत्व किसी भी अन्य संस्था से कम नहीं है। यहां विकास योजनाओं की जटिलता और नागरिक अपेक्षाओं की ऊंचाई दोनों समान रूप से चुनौतीपूर्ण हैं। नवागत उपाध्यक्ष पूर्ण बोरा ने अपने संबोधन में स्पष्ट कहा कि वाराणसी को स्मार्ट सिटी और सांस्कृतिक पहचान दोनों को साथ लेकर आगे बढ़ना है। मेरा प्रयास रहेगा कि विकास योजनाएं केवल कागज़ों में नहीं, जमीनी हकीकत में दिखें। उन्होंने विशेष रूप से कहा कि हर परियोजना के लिए ‘टाइमलाइन आधारित मॉनिटरिंग सिस्टम’ तैयार किया जाएगा, जिससे देरी और भ्रष्टाचार की संभावना न्यूनतम हो।
पारदर्शिता और ई-गवर्नेंस पर जोर
पूर्ण बोरा की कार्यशैली तकनीकी दक्षता और ई-गवर्नेंस के उपयोग के लिए जानी जाती है। उन्होंने संकेत दिया कि वीडीए में शीघ्र ही एक ‘इंटीग्रेटेड ऑनलाइन पोर्टल’ तैयार किया जाएगा, जिसके माध्यम से नक्शा स्वीकृति, संपत्ति से जुड़े आवेदन, नागरिक शिकायतें और परियोजना प्रगति रिपोर्ट ऑनलाइन ट्रैक की जा सकेंगी। उन्होंने कहा कि जनता को कार्यालयों के चक्कर न लगाने पड़ें, यह प्राथमिक लक्ष्य रहेगा।
शहर की चुनौतियों को अवसर में बदलने की दृष्टि
वाराणसी में बढ़ते शहरीकरण, यातायात दबाव, अवैध निर्माण और सौंदर्यीकरण जैसे मुद्दों को लेकर उन्होंने कहा कि यह चुनौतियां नहीं, बल्कि सुधार के अवसर हैं।
उन्होंने आश्वासन दिया कि सभी निर्माण कार्य नियमों के दायरे में और शहर की विरासत को ध्यान में रखकर होंगे। पूर्ण बोरा ने यह भी कहा कि कुशल शहरी प्रबंधन तभी संभव है जब नागरिकों को योजना प्रक्रिया का सहभागी बनाया जाए। इसके लिए वे ‘सिटीजन कनेक्ट प्रोग्राम’ शुरू करने की योजना बना रहे हैं, जहां आम नागरिक अपने सुझाव ऑनलाइन भेज सकेंगे।
वाराणसी के लिए दृष्टि ‘स्मार्ट हेरिटेज सिटी’ का लक्ष्य
पूर्ण बोरा ने कहा कि वाराणसी न केवल भारत की सांस्कृतिक राजधानी है बल्कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र के रूप में विकास का मॉडल भी है।
उन्होंने कहा कि आने वाले समय में वीडीए की भूमिका सिर्फ निर्माण एजेंसी की नहीं बल्कि विजन एजेंसी की होगी। इस दिशा में वे ‘स्मार्ट हेरिटेज सिटी मिशन’ की रूपरेखा पर काम करने का संकेत दे चुके हैं, जिसमें पुरातनता, पर्यावरण और आधुनिकता का समन्वय होगा।




